गुरुवार, 9 जून 2011

श्रम मंत्रालय और आईएनएस के सामने आज पत्रकारों का विशाल प्रदर्शन

नयी दिल्ली : अखबारों के कर्मचारियों ने लगभग 12 साल के इंतजार के बाद अपने वेतनमान में संशोधन के लिए मजीठिया वेतनबोर्ड की सिफारिशों को लागू करने में सरकार की ओर से हो रही देरी और अखबार मालिकों के दुष्प्रचारों से क्षुब्ध होकर कल आईएनएस और श्रम मंत्रालय के समक्ष विशाल प्रदर्शन करने का फैसला किया है।
अखबारी कर्मचारी संगठनों के शीर्ष मंच कान्फेडरेशन आफ न्यूजपेपर्स एंड न्यूज एजेंसी आर्गेनाइजेशन्स की आज यहां हुई आपात बैठक के बाद कान्फेडरेशन के महासचिव एम एस यादव ने अखबार मालिकों के संगठन के मुख्यालय आईएनएस और श्रम मंत्रालय पर जोरदार प्रदर्शन की घोषणा की।
उन्होंने कहा, आईएनएस दुष्प्रचार में लगा है। सरकार भी उसके दबाव में लगती है। अखबार मालिक अपनी बात प्रकाशित कर रहे है वहीं पर हमारे पक्ष को प्रकाशित नहीं कर रहे। आखिर वे किस तरह के अखबारी स्वतंत्रता की बात सोच रहे हैं।
यादव ने कहा, महंगाई के इस कठिन दौर में पिस रहे अखबार उद्योग के पत्रकार और गैर.पत्रकारों के सब््रा का सरकार इम्तहान ले रही है जो कतई जायज नहीं है। कल दिल्ली में कान्फेडरेशन के बैनर तले हजारों की संख्या में पत्रकार और गैर.पत्रकार कर्मचारी यूएनआई में एक बजे एकत्रित होंगे और वहां से आईएनएस और श्रम मंत्रालय की ओर मार्च करेंगे।
वेतन बोर्ड की सिफारिशें कैबिनेट के समक्ष रखने में पीएमओ कदम उठायेगा :खड़गे
श्रम मंत्री मल्लिकार्जुन खडगे ने आज कहा कि पत्रकारों और गैर-पत्रकारों के लिये गठित वेतन बोर्ड की सिफारिशों को मंजूरी के लिये केंद्रीय कैबिनेट के समक्ष रखने के संबंध में प्रधानमंत्री कार्यालय कदम उठायेगा। खड़गे से अखबार उद्योग के कर्मियों के लिये वेतन बोर्ड :रिपीट: बोर्ड संबंधी न्यायमूर्ति जी. आर मजीठिया की रिपोर्ट की स्थिति के बारे में पूछा गया था। इस पर उन्होंने कहा, मुझे सभी मंत्रालयों से टिप्पणियां पहले ही मिल चुकी हैं। मैंने उन्हें प्रधानमंत्री कार्यालय को सौंप दिया है। अब प्रधानमंत्री कार्यालय इस मुद्दे को कैबिनेट के समक्ष लाने के लिये निश्चित तौर पर कदम उठायेगा। ये सिफारिशें पिछले वर्ष 31 दिसम्बर को सरकार को सौंपी गयी थीं। प्रस्तावों के कार्यान्वयन में देरी के खिलाफ कर्मचारी आंदोलनरत आंदोलनरत हैं।

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